Jharkhand news: पति की हत्या कर दिए जाने के संदेह में पत्नी की गुहार के बाद 18 दिनों पूर्व दफनाए गए शव को मजिस्ट्रेट की उपस्थिति में बुधवार को निकाला गया। दुमका जिले के जामा थाना की पुलिस ने बुधवार को लगला पंचायत के बैसा जोरिया से मजिस्ट्रेट सह सीओ अशोक बड़ाईक की उपस्थिति में 28 सितंबर को दफनाए गए शव को खोदकर निकाला। पुलिस के अनुसार जल्द ही उसका पोस्टमार्टम कराया जाएगा। इसके बाद सच्चाई सामने आएगी।
मछली के जाल में लिपटा मिला था रघु किस्कू
मृतक 35 वर्षीय रघु किस्कू की पत्नी लुखी हेम्ब्रम ने मंगलवार को जामा थाना की पुलिस को लिखित आवेदन यह जानकारी दी थी कि 27 सितंबर की शाम गांव के ही रविंद्र हेंब्रम उसके पति को मछली पकड़ने के नाम पर अपने साथ ले गया था। थोड़ी देर के बाद गांव के ही तापस बास्की द्वारा सूचना मिली कि उसका पति जोरिया के किनारे बेहोश पड़ा है। जाकर देखा तो पाया कि मछली के जाल में लिपटा हुआ उसका पति घायल अवस्था में पड़ा है। तुरंत 108 एंबुलेंस को बुलाया गया, लेकिन एंबुलेंस के स्टाफ ने बताया गया कि वह मर चुका है।
शरीर पर थे जख्म के निशान, गर्दन की हड्डी थी टूटी हुई
इधर, 28 सितंबर को उसके स्वजन ने बैसा जोरिया के पास उसे दफना दिया। इससे पूर्व स्वजन ने पाया कि मृतक के शरीर पर काफी जख्म के निशान हैं। गर्दन की हड्डी भी टूटी हुई थी। शव को दफनाने के बाद दो अक्टूबर को गांव में पंचायती बुलाई गई, जिसमें पंचों द्वारा बार बार पूछने पर भी आरोपित रविन्द्र बास्की द्वारा साफ-साफ कुछ भी नहीं बताया गया। इसके बाद मृतक की पत्नी ने पुलिस को सारी बातों से अवगत कराया।