Lucknow News: संभल जाने के लिए निकले कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को पुलिस ने गाजीपुर बाॅर्डर पर ही रोक दिया है। उनके साथ प्रियंका गांधी वाड्रा और कई अन्य कांग्रेस नेता भी हैं। सुबह से ही यहां भारी पुलिस बल तैनात है। कांग्रेस नेता काफी देर तक सड़क पर ही संभल जाने के लिए रुके रहे। इस बीच पुलिस अधिकारियों से कांग्रेस नेताओं ने बात भी की, लेकिन कोई बात नहीं बनी।
प्रियंका गांधी वाड्रा के साथ निकले राहुल गांधी ने पुलिस से कहा कि मैं आपकी गाड़ी में अकेले जाने को तैयार हूं, लेकिन मुझे संभल जाने दिया जाये। राहुल गांधी ने डीजीपी से भी बातचीत की है। इसके बावजूद डीजीपी ने उन्हें जाने से मना कर दिया। उनका काफिला गाजीपुर बॉर्डर पर ही रुका रहा।
राहुल गाँधी के साथ प्रियंका,प्रदेश अध्यक्ष अजय राय, इमरान मसूद, प्रभारी अविनाश पांडेय थे मौजूद थे
राहुल गांधी के साथ प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय राय, इमरान मसूद, उत्तर प्रदेश कांग्रेस प्रभारी अविनाश पांडेय आदि बड़े नेता मौजूद थे। कांग्रेस की ओर से पांच सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल को संभल जाने देने का प्लान दिया गया। इस प्रतिनिधिमंडल में राहुल गांधी, प्रियंका गांधी, केसी वेणुगोपाल, अविनाश पांडेय और अजय राय के जाने की बात कही गयी। पुलिस प्रशासन की ओर से इस पर भी मंजूरी नहीं मिली। इसके बाद राहुल गांधी की ओर से प्रशासन से अकेले संभल जाने देने का अमुरोध किया गया। पुलिस प्रशासन ने इसकी परमिशन भी नहीं दी।
उत्तर प्रदेश कांग्रेस प्रभारी अविनाश पांडेय ने कहा कि राहुल गांधी ने पुलिस अधिकारियों के साथ बातचीत की। उन्होंने पुलिस को उनकी गाड़ी में ही बैठ कर संभल जाने की बात कही। हालांकि, उनकी मांग पर पुलिस की ओर से स्वीकार नहीं किया गया है।
इस बीच एक घंटे से गाजीपुर बॉर्डर जाम है। दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे पर बड़ी संख्या में लोगों को परेशानी झेलनी पड़ रही है। गाजीपुर बाॅर्डर पर पुलिस की ओर से काफिले को रोकने के लिए बैरिकेडिंग लगायी गयी है। कई बार कांग्रेस कार्यकर्ता और पुलिस के बीच काफिला को आगे बढ़ने देने के लिए तीखी नोक-झोंक भी हुई। राहुल गांधी के काफिले के सामने पुलिस के जवान बैरिकेडिंग के पीछे कतार लगा कर खड़े रहे। राहुल गांधी के समर्थन में पूर्णियां सांसद पप्पू यादव भी गाजीपुर बॉर्डर पहुंचे।
गाजीपुर बॉर्डर पर पुलिस के जवानों की ओर से काफिला रोकने से कांग्रेस कार्यकर्ता नाराज हो गये। बैरिकेडिंग पर चढ़ कर प्रदर्शन करने लगे। वे पुलिस अधिकारियों से बैरिकेडिंग हटाने और काफिला को आगे बढ़ने देने की मांग कर रहते रहे। कांग्रेस नेताओं ने कहा कि संभल में अगर सबकुछ सही है, तो फिर बॉर्डर पर पुलिस का पहरा क्यों है? हमें क्यों रोका जा रहा है। वहीं राहुल गांधी संभल जाने पर अड़े हुए हैं।
गाजीपुर बॉर्डर पर रोके जाने के बाद राहुल दिल्ली लौटे
उत्तर प्रदेश के हिंसा प्रभावित संभल जाते समय बुधवार को गाजीपुर बॉर्डर पर रोके जाने के बाद राहुल गांधी दिल्ली लौट आये। उनके साथ सांसद प्रियंका गांधी वाड्रा और कांग्रेस का प्रतिनिधिमंडल भी था। राहुल गांधी ने कहा कि वह पुलिस के साथ अकेले संभल जाने को तैयार हैं, लेकिन उन्हें इसकी अनुमति नहीं दी जा रही है, जो असंवैधानिक है। लोकसभा में विपक्ष के नेता के तौर पर यह उनका संवैधानिक अधिकार है। इसकी अनुमति मिलनी चाहिए थी।
हालांकि राहुल गांधी को रोकने के क्रम में पुलिस ने जो बंदोबस्त किये थे, उसके कारण सड़क पर वाहनों का काफी लम्बा जाम लग गया और लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ा। जिला प्रशासन और पुलिस ने प्रतिनिधिमंडल को संभल जाने से रोकने के लिए पहले ही सीमा पर नाकाबंदी कर दी थी, क्योंकि वहां पर बाहरी लोगों के जाने पर रोक लागू है। जिले में निषेधाज्ञा भी लागू है, जहां पिछले सप्ताह समाजवादी पार्टी (सपा) के कई सांसदों को जिले में प्रवेश करने से रोक दिया गया था। भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) की धारा 163 के तहत प्रतिबंध अब संभल में 31 दिसम्बर तक बढ़ा दिये गये हैं।
इस मौके पर राहुल के साथ मौजूद वायनाड से कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा कि राहुल संवैधानिक पद पर हैं और उन्हें संवैधानिक अधिकार है। उन्हें पीड़ित परिवारों से मिलने की अनुमति दी जानी चाहिए।
कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव (संगठन) केसी वेणुगोपाल ने की कड़ी प्रतिक्रिया
राहुल गांधी के साथ कांग्रेस प्रतिनिधिमडंल को रोके जाने पर प्रतिक्रिया देते हुए कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव (संगठन) केसी वेणुगोपाल ने कहा कि नेता विपक्ष राहुल गांधी और प्रियंका गांधी के नेतृत्व में संभल जा रहे हमारे प्रतिनिधिमंडल को गाजियाबाद में उप्र सीमा पर रोक दिया गया। उप्र सरकार द्वारा लोकसभा के नेता विपक्ष को हिंसा में जान गंवानेवालों के परिवारों से मिलने से रोकने के पीछे क्या कारण है? ऐसे व्यक्ति के साथ खड़ा होना बुनियादी मानवता है, जिसने इतना दुख और नुकसान झेला हो।
दरअसल, राहुल के काफिले को रोकने के लिए गाजीपुर बॉर्डर पर भारी बैरिकेडिंग की गयी थी। रास्ते को डायवर्ट किया गया था, जिससे रोज ऑफिस आने-जानेवालों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा। दोपहर तक गाजीपुर बॉर्डर पर भारी जाम लगा हुआ था।