Home
National
International
Jharkhand/Bihar
Health
Career
Entertainment
Sports Samrat
Business
Special
Bright Side
Lifestyle
Literature
Spirituality

यहां किसी को लकवा मारने पर हॉस्पिटल को छोड़ इस मंदिर की ओर भागते हैं लोग…

यहां किसी को लकवा मारने पर हॉस्पिटल को छोड़ इस मंदिर की ओर भागते हैं लोग…

Share this:

Dharm adhyatm : आस्था की अपनी शक्ति होती है। मनोविज्ञान और दर्शन शास्त्र के विशेषज्ञों की दृष्टि में आस्था के लिए किसी बौद्धिक तर्क का आधार आवश्यक नहीं है। यह बात सही है, लेकिन अगर आस्था की वजह से परिणाम आंखों के सामने होंगे तो आस्था को निराधार नहीं कहा जा सकता है। भारत में राजस्थान में एक ‘धाम’ के प्रति लोगों की आस्था का परिणाम सामने दिखता है। कहा जाता है कि जब यहां के लोगों को लकवा मारता है, तो वे अस्पताल की ओर नहीं भाग कर इस स्थान की ओर भागते हैं और कुछ दिनों में लकवा के अटैक से मुक्त हो जाते हैं। जी हां, हम बात कर रहे हैं, राजस्थान के नागौर जिले की देगाना तहसील में स्थित बुटाटी धाम मंदिर की। यहां वाकई आस्था और चमत्कार का अद्भुत संगम दिखता है। यह धाम संत चतुरदास जी महाराज को समर्पित है और लकवा के इलाज के लिए जाना जाता है।

इस प्रकार होता है लकवा का इलाज

भक्तों का कहना है कि यहां सात दिनों तक लगातार आरती और परिक्रमा करने से लकवा ग्रस्त व्यक्ति ठीक हो सकता है या उसमें काफी सुधार देखा जा सकता है। इलाज के लिए यहां विशेष प्रबंध किए जाते हैं। मरीजों को सात दिन तक मंदिर परिसर में ठहरने की व्यवस्था की जाती है। मंदिर प्रबंधन के अनुसार, सुबह की आरती के बाद मंदिर के बाहर परिक्रमा और शाम की आरती के बाद मंदिर के अंदर परिक्रमा अनिवार्य है। यह प्रक्रिया सात दिनों तक चलती है। फिर मरीज को मंदिर का प्रसाद और भभूत दी जाती है। प्रसाद खाना होता है और भभूत शरीर में लगानी होती है। धीरे-धीरे मैरिज बिल्कुल स्वस्थ हो जाता है।

लाखों लोगों के साथ हुआ है चमत्कार

यह बताया जाता है कि यहां देश के विभिन्न हिस्सों से मरीज और उनके परिजन आते हैं। मंदिर परिसर में ठहरने के लिए कमरे उपलब्ध हैं। बुटाटी धाम का निकटतम रेलवे स्टेशन मेढ़ता रोड है। यह जयपुर-जोधपुर रेल मार्ग पर स्थित है। स्टेशन से मंदिर आप आसानी से जीप या ऑटो रिक्शा कर पहुंच सकते हैं। यहां आकर लाखों लोगों को स्वास्थ्य लाभ और शांति मिल चुकी है।

Share this: