Health tips : हमारे शरीर के सभी अंग अपनी-अपनी जगह महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। किसी भी अंग में कोई दोष आने पर सम्पूर्ण शरीर के कार्य कलाप प्रभावित होते हैं। इन्हीं अंगों में एक महत्त्पूर्ण अंग हैं हमारे गुर्दे। गुर्दे न केवल रक्त से बेकार पदार्थ बाहर निकालने के लिए उत्तरदायी होते हैं, बल्कि रक्तचाप को भी नियंत्रित करते हैं। गुर्दे एरिथ्रोपोटिन नामक एक हार्मोन भी उत्पन्न करते हैं, जो लाल रक्तकणों के निर्माण में सहायता करता है। ये विटामिन डी को सक्रिय करते हैं, जो कैल्शियम ग्रहण करने और हड्डियों के निर्माण के लिए बहुत आवश्यक है। गुर्दों को स्वस्थ रखने के लिए सबसे पहले उच्च रक्तचाप पर नियंत्रण बहुत आवश्यक है। क्योंकि, अनियंत्रित रक्तचाप गुर्दो को नुकसान पहुंचाता है।
गुर्दों को मधुमेह रोग भी नुकसान पहुंचाता है
इसके अतिरिक्त गुर्दों को मधुमेह रोग भी नुकसान पहुंचाता है। इसी कारण से अधिकतर मधुमेह रोगियों को गुर्दे सम्बन्धी शिकायतें देखने को मिलती हैं। गुर्दे में पथरी होने से भी गुर्दे फेल हो जाने का खतरा बढ़ जाता है। यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन भी बार-बार होने से गुर्दे प्रभावित होने की सम्भावना बढ़ जाती है। यदि गुर्दे सही काम नहीं कर रहे हों, तो डाॅक्टर मुख्यत: तीन टेस्ट कराने को कहते हैं… यूरिन टेस्ट, ब्लड टेस्ट और सोनोग्राफी। इन टेस्टों से वे गुर्दे की सही दशा जान पाते हैं। आपको यह कराने की आवश्यकता न पड़े, इसलिए कुछ बातों को ध्यान में रखें।
इन बातों का जरूर करें अनुपालन
✓मधुमेह और उच्च रक्तचाप पर नियंत्रण रखना बहुत आवश्यक है, क्योंकि ये दोनों रोग गुर्दे फेल होने का कारण बनते हैं।
✓ डाॅक्टर की सलाह के बिना किसी भी दवाई का सेवन न करें।
✓ नमक का सेवन बहुत सीमित मात्रा में करें।
✓अल्कोहल का सेवन सीमित मात्रा में ही करें।
✓धूम्रपान न करें।
✓कैल्शियम के अच्छे स्रोतों दही, पनीर बादाम, सूखा नारियल और सोयाबीन का सेवन करें।
✓ गुर्दे में पथरी का कारण कैल्शियम नहीं, बल्कि ऑक्जलेट है, जो हरी पत्तेदार सब्जियों में पाया जाता है। इसके अतिरिक्त उच्च ऑक्जलेट युक्त खाद्य पदार्थ हैं… चाय, एपल जूस, ग्रेप जूस, इन्स्टेंट काॅफी आदि।
✓वसा, चीनी को भी सीमित मात्रा में लें।
✓प्रतिदिन 8-10 गिलास पानी अवश्य पीयें।
✓ पोटैशियम, मैग्नीशियम, विटामिन बी 6 के उत्तम स्रोतों केला, आलू, सोयाबीन जौ, मक्का और आदि का अधिक सेवन करें।