Hariharnath Mandir sonpur Ki Mahima, Hari or har EK sath birajate Hain yahan : हरिहरनाथ मंदिर भारतीय राज्य बिहार के सोनपुर नगर में स्थित हैं, जो गंडक और गंगा नदी के किनारे बसा हुआ है। यहां के प्रमुख देवता हरि यानी विष्णु और हर यानी शंकर हैं। यह मान्यता है कि हरिहरनाथ मंदिर एक अद्वितीय तीर्थ स्थल है, जहां हरि और हर दोनों एक ही पत्थर पर स्थित हैं। सोनपुर में स्थित इस मंदिर की प्रशंसा इसलिए की जाती है, क्योंकि भक्त खुद ही यहां खींचे चले आते हैं। कार्तिक पूर्णिमा के दिन भगवान हरिहरनाथ के दर्शन करने और गंगा में स्नान करने के लिए बहुत सारे लोग यहां आते हैं। इसी दिन से सोनपुर पशु मेला भी शुरू होता है, जो पर्यटकों को अपनी ओर खींचता है। मान्यता है कि हरिहरनाथ के दर्शन करने से भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं और भक्त खाली हाथ वापस नहीं जाते। अगर आप हरिहरनाथ मंदिर के इतिहास और कथा के बारे में अधिक जानकारी प्राप्त करना चाहते हैं, तो कृपया हमारे इस लेख को पूरा पढ़ें।
मंदिर स्थापना की कई कथाएं हैं प्रचलित
सोनपुर में स्थित बाबा हरिहरनाथ मंदिर के बारे में कई कहानियां प्रचलित हैं। मान्यता है कि हरिहरनाथ मंदिर की स्थापना भगवान राम द्वारा की गई थी, जब वे सीता स्वयंवरम के दौरान उस रास्ते से जा रहे थे। हालांकि इतिहासकारों के बीच इस बात पर सहमति नहीं है। एक पौराणिक कथा के अनुसार भगवान विष्णु ने धरती पर आने के लिए गज (हाथी) और ग्राह (घड़ियाल) के बीच हुए युद्ध को समाप्त किया था और इसी के परिणामस्वरूप हरिहरनाथ मंदिर की स्थापना हुई। मान्यता है कि गज और ग्राह के बीच हुए युद्ध के कारण इस स्थान पर पशुओं की खरीदारी करना शुभ माना जाता है। एक अन्य कथा के अनुसार हरिहरनाथ मंदिर का संबंध बाणासुर की पुत्री के हरण के समय हुए युद्ध से भी जुड़ा हुआ है। भगवान श्रीकृष्ण और बाणासुर के बीच हुए इस युद्ध के बारे में इतिहास और पौराणिक कथाओं में उल्लेख है। इस युद्ध की विशेषता यह थी कि इसमें भगवान शिव बाणासुर के पक्ष में थे। कहते हैं युद्ध समाप्त होने के पश्चात हरिहरनाथ मंदिर कि स्थापना भगवान ब्रह्म देव ने खुद अपने हाथो से की थी।
प्राचीन इतिहास समेटा हुआ है यह मंदिर
हरिहरनाथ मंदिर का अतीत गूढ़ है। हालांकि मंदिर से संबंधित प्रचलित कथाओं से यह समझा जा सकता है कि इसका इतिहास बहुत प्राचीन है। यह माना जाता है कि मंदिर भगवान राम के समय से संबंधित है। हालांकि एक कथा के अनुसार इस मंदिर का निर्माण राजा मान सिंह ने करवाया था। वर्तमान समय में स्थित मंदिर की संरचना को राजा राम नारायण ने मुग़ल शासन काल के दौरान करवाया था।
सोनपुर मेला है इस मंदिर का मुख्य आकर्षण
हरिहरनाथ मंदिर के प्रमुख आकर्षण में सोनपुर मेला एक है। यह मेला एशिया के सबसे बड़े पशु मेलों में से एक है। यह मेला बिहार के वैशाली जिले में आयोजित किया जाता है, जो हर वर्ष नवंबर और दिसंबर महीने में आयोजित होता है। सोनपुर मेले के बारे में एक कहावत प्रसिद्ध है कि यहां आप सुई से लेकर हाथी तक की खरीदारी कर सकते हैं। हालांकि, वन्यजीव संरक्षण अधिनियम 1972 के तहत सोनपुर मेले में हाथियों की बिक्री पर वर्ष 2004 से प्रतिबंध लगा दिया गया है। सोनपुर मेला 15 दिन से एक महीने तक चलता है और इस मेला की शुरुआत कार्तिक पूर्णिमा के दिन होती है।
दर्शन के लिए सबसे उपयुक्त समय
हरिहरनाथ मंदिर के दर्शन करने के लिए, कार्तिक पूर्णिमा को जाना सबसे अच्छा माना जाता है। इस दिन सोनपुर पशु मेला की शुरुआत होती है और गंडक और गंगा नदी के संगम स्थल पर स्नान करना बहुत पवित्र माना जाता है। हालांकि आप हरिहरनाथ मंदिर में भगवान के दर्शन के लिए साल के किसी भी समय में जा सकते हैं। हरिहरनाथ मंदिर के दर्शन करने के बाद यदि आप मंदिर के पास ठहरना चाहते हैं तो आपको सोनपुर में अलग-अलग बजट के होटल मिलेंगे। आप अपनी हैसियत के अनुसार होटल का चयन कर सकते हैं, जो लो-बजट से लेकर हाई-बजट तक हो सकते हैं।
बस से हरिहरनाथ मंदिर कैसे जाएं
बस से हरिहरनाथ मंदिर जाने के लिए यदि आपने सड़क मार्ग का चयन किया है, तो यह बताया जाता है कि सोनपुर बिहार के एक प्रमुख स्थान से लगभग 3 किलोमीटर दूर स्थित है। इसके अलावा, यह पटना, बिहार की राजधानी से लगभग 25 किलोमीटर दूर है। आप आसानी से बस या टैक्सी का उपयोग करके हरिहरनाथ मंदिर तक पहुंच सकते हैं।
ट्रेन से हरिहरनाथ मंदिर कैसे जाएं
ट्रेन से हरिहरनाथ मंदिर जाने के लिए, यदि आपने ट्रेन का चयन किया है, तो सबसे नजदीकी रेलवे स्टेशन सोनपुर जंक्शन है। यह जंक्शन रेलवे नेटवर्क के माध्यम से सोनपुर को देश के प्रमुख शहरों से सुगमता से जोड़ता है। सोनपुर से हरिहरनाथ मंदिर लगभग 3 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। आप स्टेशन से स्थानीय साधनों की सहायता से आसानी से हरिहरनाथ मंदिर तक पहुंच सकते हैं।
फ्लाइट से हरिहरनाथ मंदिर कैसे जाएं
हरिहरनाथ मंदिर तक पहुंचने के लिए, यदि आपने हवाई मार्ग का चयन किया है, तो आपको बताना चाहेंगे कि बिहार की राजधानी पटना में स्थित जय प्रकाश नारायण अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा सबसे नजदीक है। यह हरिहरनाथ मंदिर से लगभग 23 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।