Home
National
International
Jharkhand/Bihar
Health
Career
Entertainment
Sports Samrat
Business
Special
Bright Side
Lifestyle
Literature
Spirituality

Supreme Court में मोदी सरकार बोली, हिंदुओं को भी अल्पसंख्यक का दर्जा दे सकते हैं राज्य और केंद्र शासित प्रदेश व…

Supreme Court में मोदी सरकार बोली, हिंदुओं को भी अल्पसंख्यक का दर्जा दे सकते हैं राज्य और केंद्र शासित प्रदेश व…

Share this:

Centre (केंद्र) की मोदी सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में कहा है कि राज्य और केंद्र शासित प्रदेश भी हिंदुओं को अल्पसंख्यक का दर्जा दे सकते हैं। 27 मार्च को एक याचिका के संदर्भ में जवाब दाखिल करते हुए केंद्रीय अल्पसंख्यक मंत्रालय ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि जिस तरह से राष्ट्रीय स्तर पर ईसाई, सिख, मुस्लिम, बौद्ध, पारसी और जैन को अल्पसंख्यक का दर्जा दिया गया है, वैसे ही राज्यों को स्वतंत्रता है कि वे भाषायी या फिर संख्या के आधार पर हिंदुओं को अल्पसंख्यक का दर्जा दे सकें।

अश्विनी उपाध्याय की याचिका

केंद्र सरकार ने अधिवक्ता अश्विनी कुमार उपाध्याय द्वारा दाखिल याचिका के जवाब में दाखिल हलफनामे में यह जानकारी दी है। याचिका में उन्होंने अल्पसंख्यक शैक्षणिक संस्थानों के लिए राष्ट्रीय आयोग अधिनियम-2004 की धारा-2 (एफ) की वैधता को चुनौती दी है। उपाध्याय ने अपनी अर्जी में कहा कि धारा-2 (एफ) केंद्र को अकूत शक्ति देती है, जो साफतौर पर मनमाना, अतार्किक और आहत करने वाला है। याचिकाकर्ता ने देश के विभिन्न राज्यों में अल्पसंख्यकों की पहचान के लिए दिशा-निर्देश तय करने के निर्देश देने की मांग की है। उनकी यह दलील है कि यहूदी, बहाई और हिंदू धर्म के अनुयायी जो लद्दाख, मिजोरम, लक्षद्वीप, कश्मीर, नगालैंड, मेघालय, अरुणाचल प्रदेश, पंजाब और मणिपुर में वास्तविक अल्पसंख्यक हैं, अपनी पसंद से शैक्षणिक संस्थान की स्थापना व संचालन नहीं कर सकते। यह गलत है।

अकूत शक्ति देने की बात अस्वीकार

अल्पसंख्यक मामलों के मंत्रालय ने अपने जवाब में कहा है कि हिंदू, यहूदी, बहाई धर्म के अनुयायी उक्त राज्यों में अपनी पसंद के शैक्षणिक संस्थानों की स्थापना कर सकते हैं। उन्हें चला सकते हैं एवं राज्य के भीतर अल्पसंख्यक के रूप में उनकी पहचान से संबंधित मामलों पर राज्य स्तर पर विचार किया जा सकता है। मंत्रालय ने उस दावे को भी अस्वीकार कर दिया जिसमें कहा गया कि धारा-2(एफ) केंद्र को अकूत ताकत देती है।

Share this: