National news, National update, New Delhi news : केन्द्र की मोदी सरकार ने केन्द्रीय कर्मचारियों के महंगाई भत्ते (डीए) और पेंशनभोगियों के महंगाई राहत (डीआर) में एक जुलाई से चार प्रतिशत की बढ़ोतरी की है।
पीएम मोदी की अध्यक्षता में केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने बुधवार को डीए और डीआर की अतिरिक्त किस्त जारी किये जाने को मंजूरी दी। केन्द्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने नई दिल्ली में पत्रकारों को मंत्रिमंडल के फैसलों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि इससे केन्द्रीय कर्मयों व पेंशनभोगियों को मूल वेतन अथवा पेंशन पर मिलने वाला महंगाई भत्ता या महंगाई राहत 42 प्रतिशत से बढ़कर 46 प्रतिशत हो गयी है। यह बढ़ोतरी 7वें केन्द्रीय वेतन आयोग की सिफारिशों के आधार पर स्वीकृत फॉर्मूले के अनुरूप है। महंगाई भत्ता और महंगाई राहत में बढ़ोतरी से सरकारी खजाने पर प्रतिवर्ष 12,857 करोड़ रुपये का अतिरिक्त बोझ बढ़ेगा। इससे करीब 48.67 लाख कर्मचारियों और 67.95 लाख पेंशनभोगियों को फायदा होगा।
अराजपत्रित रेलवे कर्मियों को मिलेगा 78 दिन का बोनस
इधर, केन्द्र सरकार ने सभी पात्र अराजपत्रित रेलवे कर्मचारियों को वित्त वर्ष 2022-23 के लिए 78 दिनों के वेतन के बराबर उत्पादकता से जुड़ा बोनस (पीएलबी) देने का फैसला किया है। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने बुधवार को इसे भी मंजूरी प्रदान की। उत्कृष्ट प्रदर्शन को देखते हुए 11,07,346 रेलवे कर्मचारियों को कुल 1968.87 करोड़ रुपये का पीएलबी भुगतान किया जायेगा। इन रेल कर्मचारियों में ट्रैक मेंटेनर, लोको पायलट, ट्रेन मैनेजर (गार्ड), स्टेशन मास्टर, पर्यवेक्षक, तकनीशियन, तकनीशियन हेल्पर, पॉइंट्समैन, मिनिस्ट्रियल स्टाफ और अन्य ग्रुप ‘सी’ स्टाफ (आरपीएफ/आरपीएसएफ कर्मियों को छोड़ कर) शामिल है। केंद्र सरकार का कहना है कि साल 2022-2023 में रेलवे का प्रदर्शन काफी अच्छा रहा है। रेलवे ने 150.9 करोड़ टन की रिकॉर्ड माल ढुलाई की और लगभग 6.5 अरब यात्रियों को उनके गंतव्य तक पहुंचाया।
रबी सीजन की छह फसलों के एमएसपी में इजाफा
मोदी सरकार ने रबी सीजन की छह फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य में इजाफा किया है। सरकार का कहना है कि किसानों की आय डेढ़ गुना करने के क्रम में लगातार एमएसपी में इजाफा किया जा रहा है। बुधवार को विपणन सीजन 2024-25 के लिए सभी अनिवार्य रबी फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) में वृद्धि को मंजूरी दे दी गयी। केन्द्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने यह जानकारी देते हुए बताया कि सरकार ने विपणन सीजन 2024-25 के लिए रबी फसलों के एमएसपी में वृद्धि की है, ताकि उत्पादकों को उनकी उपज के लिए लाभकारी मूल्य सुनिश्चित हो सके। एमएसपी में सबसे अधिक वृद्धि मसूर के लिए 425 रुपये प्रति क्विंटल, इसके बाद रेपसीड और सरसों के लिए 200 रुपये प्रति क्विंटल की मंजूरी दी गयी है। गेहूं और कुसुम के लिए प्रति क्विंटल 150 रुपये की बढ़ोतरी को मंजूरी दी गयी है। जौ और चने के लिए क्रमश: 115 रुपये और 105 रुपये प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी को मंजूरी दी गयी है।
गेहूं के दाम 2125 से बढ़कर 2275 रुपये हुए
आज हुए इजाफे के बाद गेहूं के दाम 2125 से बढ़कर 2275 रुपये, जौ के भाव 1735 से बढ़ कर 1850 रुपये, चने के दाम 5335 से बढ़कर 5440 रुपये, मसूर की कीमत 6000 बढ़कर 6425 रुपये, तोरिया और सरसों के भाव 5450 बढ़कर 5650 रुपये और कुसुम के भाव 5650 से बढ़कर 5800 रुपये हो गये हैं। केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि सरकार खाद्य सुरक्षा बढ़ाने, किसानों की आय बढ़ाने और आयात पर निर्भरता कम करने के लिए तिलहन, दलहन और श्रीअन्न या मोटा अनाज को बढ़ावा दे रही है। सरकार ने राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन (एनएफएसएम), प्रधान मंत्री कृषि सिंचाई योजना (पीएमकेएसवाई) और तिलहन और तेल पाम पर राष्ट्रीय मिशन (एनएमओओपी) जैसी विभिन्न पहल की हैं। किसानों को तिलहन और दलहन की खेती के लिए प्रोत्साहित करने के लिए वित्तीय सहायता, गुणवत्तापूर्ण बीज प्रदान किये जा रहे हैं।