Mumbai : उद्योगपति मुकेश अंबानी ने ICT मुंबई को 151 करोड़ रुपये दान में दिये हैं। अंबानी ने प्रोफेसर एमएम शर्मा की जीवनी ‘डिवाइन साइंटिस्ट’ के विमोचन समारोह को संबोधित करते हुए संस्थान को दान देने की घोषणा की।
रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक मुकेश अंबानी इसी संस्थान से 1970 के दशक में स्नातक की पढ़ाई पूरी की थी। उस समय इसे यूनिवर्सिटी डिपार्टमेंट ऑफ केमिकल टेक्नोलॉजी (UDCT) के नाम से जाना जाता था। रिलायंस समूह के चेयरमैन मुकेश अंबानी ने ICT में प्रोफेसर एमएम शर्मा की जीवनी ‘डिवाइन साइंटिस्ट’ के विमोचन के लिए आयोजित एक विशेष समारोह में भाग लिया और कार्यक्रम में तीन घंटे से अधिक समय तक उपस्थित रहे।
उद्योगपति मुकेश अंबानी ने कहा, “जब प्रोफेसर शर्मा हमसे कुछ कहते हैं, तो हम केवल सुनते हैं और उस पर अमल करते हैं। जब उन्होंने मुझसे कहा, ‘मुकेश, तुम्हें ICT के लिए कुछ बड़ा करना है’, तब मैंने यह फैसला (151 करोड़ दान देने का) लिया। मुझे यह घोषणा करते हुए अत्यंत खुशी हो रही है।” मुकेश अंबानी ने अपनी यादें सांझा करते हुए कहा कि UDCT में प्रोफेसर शर्मा का पहला व्याख्यान उनकी जिन्दगी में प्रेरणादायक साबित हुआ। प्रोफेसर शर्मा ने न केवल उन्हें प्रेरित किया, बल्कि वे भारत के आर्थिक सुधारों के एक शांतिपूर्ण शिल्पकार भी बने। अंबानी ने कहा कि प्रोफेसर शर्मा ने नीति निर्माताओं को यह समझाया कि भारत को आर्थिक प्रगति के लिए लाइसेंस-परमिट-राज से मुक्ति दिलानी होगी। तभी भारतीय उद्योग वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धा कर सकेगा, आयात पर निर्भरता घटेगी और बड़े पैमाने पर उत्पादन संभव होगा।
रिलायंस के चेयरमैन ने कहा, “मेरे पिता धीरूभाई अंबानी की तरह, प्रोफेसर शर्मा के अंदर भी भारतीय उद्योग को कमी से निकालकर वैश्विक नेतृत्व की ओर ले जाने की तीव्र इच्छा थी।” उन्होंने आगे कहा, “इन दोनों दूरदर्शी नेताओं का विश्वास था कि विज्ञान और तकनीक के साथ निजी उद्यमिता मिल कर देश में समृद्धि के नए द्वार खोल सकते हैं।”
मुकेश अंबानी ने अपने भाषण में भारतीय रासायनिक उद्योग के विकास में प्रोफेसर शर्मा के योगदान को याद किया. उन्होंने कहा कि प्रोफेसर शर्मा को वह ‘राष्ट्र गुरु-भारत के गुरु’ के रूप में देखते हैं।



