China (चीन) के डिटेंशन सेंटर ( सबसे सीक्रेट जगह) की कड़वी सच्चाई ‘शिंजियांग पुलिस फाइल्स’ के नाम से दुनिया के सामने आई है। एक रिपोर्ट के अनुसार इस सेंटर में करीब 10 लाख उइगर मुस्लिमों और अन्य जातीय, धार्मिक अल्पसंख्यकों को बलपूर्वक बंदी बनाकर रखा गया है। यहां से भागने वालों को सीधे गोली मार दी जाती है। महिलाओं के साथ रेप और उनके प्राइवेट पार्ट में करंट लगाने के भी आरोप हैं।
अत्याचारों से जुड़ी फाइलें लीक
इंटरनेशनल मीडिया की रिपोर्ट के अनुसार, शिक्षाविद और चीन सरकार के दस्तावेजों के इंटरनेशनल एक्सपर्ट एड्रियन जेन्ज ने चीन के अत्याचारों से जुड़ी फाइलें लीक की है। इसमें चीन के गुनाहों की पूरी दास्तां सिलसिलेवार तरीके से बताई गई है। इसे ‘शिंजियांग पुलिस फाइल्स’ नाम दिया गया है। जेन्ज अमेरिका के NGO द विक्टिम्स ऑफ कम्यूनिज्म मेमोरियल फाउंडेशन के लिए काम करते हैं। ये दस्तावेज ऐसे समय में लीक किए गए हैं, जब यूएन मानवाधिकारों के प्रमुख मिशेल बेचेलेट कंट्रोवर्सियल ट्रिप पर शिंजियांग जा रहे हैं।
महिलाओं से गैंग रेप का भी आरोप
रिपोर्ट्स के मुताबिक इस सेंटर में बंदियों को जंजीरों से बांधकर रखा जाता है। सेंटर्स के वॉच टॉवरों में मशीनगन और स्नाइपर रायफलें रखी जाती हैंं। कोई महिला अगर सेंटर से निकल भागी है तो उससे पूछताछ के नाम पर रेप किया जाता है। यहां कैद महिलाओं से भी रेप होना आम है। तर्सुने झियाउदून (42) ने वाइस ऑफ अमेरिका को बताया कि कुंस काउंटी के उइगर सेंटर में उसे पीटा गया, सेक्सुअल उत्पीड़न किया गया और गैंग रेप किया गया। मुझे चार बार इंटरोगेशन सेंटर ले जाया गया। मेरे प्राइवेट पार्ट में बैटन से करंट लगाया गया।
चीन का आरोपों से इनकार
चीन इन आरोपों से इनकार करता है और कहता है कि ये वोकेशनल ट्रेनिंग स्कूल हैं। वहां लोग अपनी इच्छा से जाते हैं। यहां लोगों को फिर से ट्रेनिंग दी जाती है, ताकि वे अधिक पैसा कमा सकें।