मध्य प्रदेश के भोपााल में खुफिया एजेंसी ने शनिवार की रात आतंकियों के बड़े माड्यूल को ध्वस्त किया है। आतंकी पुराने शहर में ऐशबाग थाने से 200 मीटर की दूरी पर फातिमा मस्जिद के पास बिल्डिंग में भाड़े का घर लेकर रह रहे थे। खुफिया एजेंसी ने आपरेशन चलाकर छह आतंकियों को गिरफ्तार किया। पुलिस ने इस बिल्डिंग से कई बोरी धार्मिक साहित्य, दर्जन भर से ज्यादा लैपटाप जब्त किए गए हैं। इसके साथ ही बड़ी मात्रा में विस्फोटक सामग्री व हथियार भी पुलिस को हाथ लगे हैं। इस आपरेशन के साथ-साथ एक और छापेमारी करौंद इलाके में भी की गई। यहां से लोकल माड्यूल के आतंकियों के गिरफ्तार होने की सूचना मिली है। खुफिया एजेंसी गिरफ्तार आतंकियों को अज्ञात स्थान पर लेकर पूछताछ कर रही है।
गिरफ्तारी के बाद सिल किया गया घर
आतंकियों की गिरफ्तारी के बाद घर को सील कर दिया गया है। इनके तार उत्तर प्रदेश के देवबंद से जुड़ रहे हैं, इनके घर से बड़ी मात्रा मे सामग्री जब्त की गई है। गिरफ्तार किए गए आतंकी मुस्लिम बाहुल्य इलाके में रहकर, ऐसे कालेज में दाखिला लिया था, जहां अधिकांश छात्र मुस्लिम हो।
मकान मालकिन ने कहा- बार-बार मांग रहे थे उनसे आधार कार्ड पर अभी तक नहीं दिया
जिस मकान में ये आतंकी रहते थे उसकी मलकिन नायाब जहां ने बताया कि सबसे पहले अहमद नाम का युवक मेरे मकान में रहने आया। इसके बाद अहमद यहां रहने के लिए और लड़कों को बारी- बारी से लेकर आया। यहां सभी लड़के छात्र बनकर रह रहे थे। मकान मलकिन ने कहा कि मैंने अहमद से कई दफे आधार कार्ड मांगी लेकिन वह बार-बार देने को कह कर दिया नहीं। अभी 15 दिन पहले जब मैंने उससे आधार कार्ड देने को कहा तो उसने कहा कि मैं इसी महीने कमरा खाली कर दूंगा। अब आधार कार्ड लेकर क्या करोगी।
बताया जा रहा है कि सभी आतंकी छात्र बनकर यहां रह रहे थे। इन्होंने किसी कालेज में एडमिशन भी ले रखा था। ये कालेज में पढ़ने वाले युवाओं को बहका कर आतंकी गतिविधियों में शामिल करने का काम कर रहे थे। अब खुफिया एजेंसी इस बात की पड़ताल कर रही है कि ये किस राज्य से आए थे और किस संगठन से जुड़े हैं।
आपरेशन बेहद गोपनीय था
खुफिया एजेंसी ने आतंकियों को पकड़ने के आपरेशन को पूरी तरह गोपनीय रखा। स्थानीय थाने को भी इसकी कोई जानकारी नहीं दी गई। बिल्डिंग में सभी किराएदार परिवार रहते हैं, नीचे वाले मकान का किराएदार भी गायब है। पूरी गली में दहशत का माहौल है कोई कुछ बताने को तैयार नहीं है। बस सिर्फ इतना कहना है कि यह बिल्डिंग 70 साल की नायाब जहां की है।