चारा घोटाला मामले में मिली सजा के बाद राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने जमानत के लिए ऊपरी अदालत में गुहार लगाई है। अब हाईकोर्ट फैसला करेगा कि वह लालू को बेल दे या ना दे। लालू प्रसाद ने हाई कोर्ट से अपनी जमानत के लिए गुहार लगाई है। डोरंडा ट्रेजरी से 139 करोड़ रुपए से ज्यादा की अवैध निकासी के मामले में लालू को कोर्ट ने 21 फरवरी को 5 साल की सजा सुनाई गई थी। साथ ही लालू पर 60 लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया गया था।
सीबीआई के द्वारा 1996 में बिहार के अलग-अलग कोषागारों से गलत ढंग से अलग-अलग राशियों की निकासी को लेकर 53 मुकदमे दर्ज किए थे। ये रुपयों को संदिग्ध रूप से पशुओं और उनके चारे पर खर्च होना बताया गया था। उन 53 मामलों में से डोरंडा से जुड़ा मामला आरसी 47 (ए)/ 96 सबसे बड़ा जिसमें सर्वाधिक 170 आरोपित शामिल हैं। इस मामले में सर्वाधिक 139 करोड़ रुपए की भारी भरकम राशि की अवैध निकासी की गई थी। मामले में अभियोजन पक्ष के गवाहों की संख्या भी सबसे अधिक 585 है।
102 लोग ट्रायल फेस कर रहे थे
डोरंडा कोषागार से 139 करोड़ रुपए की अवैध निकासी मामले में लालू प्रसाद समेत 102 लोग ट्रायल फेस कर रहे थे। इसमें लालू को सीबीआई की विशेष अदालत ने दोषी ठहराते हुए उन्हें 5 साल की सजा सुनाई है। लालू ने अब हाई कोर्ट में अपनी जमानत की गुहार लगाई है।चारा घोटाले में लालू को अब तक पांच मामलों में सजा मिल चूकी है। इसमें लालू यादव पहले भी तीन साल तक जेल में रह चुके हैं। वहीं अब उन्हें 5 साल की सजा सुनाई गई है। अगर उन्हें हाई कोर्ट से जमानत नहीं मिलती तो आने वाले समय में लालू को लम्बे समय तक जेल में बिताना पड़ सकता है। फ़िलहाल स्वास्थ्य कारणों का हवाला देकर लालू यादव रांची के रिम्स में उपचाररत है। अगर उन्हें जमानत मिलती है तो वे बाहर आ सकते हैं।