National News Update, Mumbai, RBI, Granted More Than 87 Thousant Crores To Central Government : रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) के सेंट्रल बोर्ड ऑफ डारेक्टर्स ने वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सरकार को अधिशेष के रूप में 87 हजार 416 करोड़ रु के हस्तांतरण को मंजूरी दी है। 19 मई को आरबीआई की तरफ से कहा गया कि बोर्ड ने कंटिंगेंसी रिस्क बफर को 5.50 फीसदी से बढ़ाकर 6.00 फीसदी करने का भी निर्णय किया हैं।
सालाना रिपोर्ट और अकाउंट को मंजूरी
केंद्रीय बैंक ने एक बयान में कहा कि अपनी बैठक में बोर्ड ने ग्लोबल और घरेलू आर्थिक स्थिति और मौजूदा वैश्विक भू-राजनीतिक विकास के प्रभाव के सहित संबंधित जो चुनौतिया है, इसकी समीक्षा की।
अप्रैल 2022 से मार्च 2023 के दौरान बोर्ड ने आरबीआई के कार्य पर भी चर्चा की और सलाना रिपोर्ट और अकाउंट को मंजूरी दी। 2022-23 के लिए डिविडेंट को 2023-24 में ट्रांसफर किया गया। यह डिविडेंट सरकार के द्वारा प्राप्त होने की अपेक्षा से काफी ज्यादा है।
सरकार को 48 हजार करोड़ रुपए मिलने का था अनुमान
सरकार की तरफ से वर्ष 2023 के बजट में यह अनुमान लगाया गया था कि उसको वर्ष 2023-24 में रिजर्व बैंक और राज्य के स्वामित्व वाले उधारदाताओं से डिविडेंट के रूप में 48 हजार करोड़ रु मिलेंगे। याद कीजिए, वर्ष 2021-22 के लिए ग्लोबल स्तर पर हाई ब्याज की दरों की वजह से विदेशी प्रतिभूतियों में इसके इन्वेस्टमेंट में हुए नुकसान के कारण से आरबीआई ने आकस्मिक निधि के लिए 1.15 लाख करोड़ रु का प्रावधान करने के लिए मजबूर होना पड़ा।
RBI का डिविडेंड सरकार के राजस्व का प्रमुख स्रोत
अगस्त 2019 के महीने में रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया के आर्थिक ढांचे में बदलाव के बाद रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया का डिविडेंट सरकार के लिए राजस्व का एक प्रमुख स्रोत बना गया है। जो वर्ष 2012-13 के 33 हजार 10 करोड़ रु से बढ़ाकर वर्ष 2018-19 के लिए 1.76 लाख करोड़ रु हो गया है।