मध्य प्रदेश के ग्वालियर में एक चौंकाने वाली घटना हुई है। यहां पति-पत्नी के बीच ऐसा कुछ हुआ है कि पति सीधे सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है और पत्नी से छुटकारा दिलाने की गुहार लगा रहा है। पति ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर कहा है कि उसकी पत्नी महिला नहीं पुरुष है। उसका प्राइवेट पार्ट पुरुष का है। पति ने सुप्रीम कोर्ट में पत्नी पर आरोप लगाया है कि ससुर ने उसे धोखा दिया और शादी करा दी। मैं उसके साथ जीवन नहीं गुजार सकता।
ससुर पर धोखाधड़ी का केस चलना चाहिए
परेशान पति ने सुप्रीम कोर्ट से गुहार लगाते हुए न्यायालय से मांग की है की इस धोखाधड़ी के लिए उसके ससुर और पत्नी पर कानूनी कार्यवाही हो। ससुर और पत्नी पर केस चलना चाहिए। पति की फरियाद सुनने के बाद शीर्ष न्यायालय ने इस मामले पर विचार करने की स्वीकृति प्रदान कर दी है। इस मामले में पति के वकील ने उसके ससुर, पत्नी और मध्य प्रदेश पुलिस को नोटिस जारी कर दिया है। सभी पक्षकारों से डेढ़ माह के अंदर जवाब मांगा है।
हाई कोर्ट भी जा चुका है पति
सुप्रीम कोर्ट कारू करने से पहले पति ने इस मामले को हाईकोर्ट में भी उठाया था। उस वक्त हाई कोर्ट ने जून 2021 में फैसला भी दिया था। इस फैसले से जब पति संतुष्ट नहीं हुआ तो उसने सुप्रीम कोर्ट के दरवाजे खटखटाया। इस मामले में एक वकील का कहना था कि मेडिकल से इस बात के पूरे साक्ष्य हैं कि पत्नी को महिला नहीं कहा जा सकता।
पति ने पेश की मेडिकल रिपोर्ट
शादी से परेशान पति ने कोर्ट में जो मेडिकल रिपोर्ट पेश की, उससे पता चला कि उसकी पत्नी का प्राइवेट पार्ट पुरुष का ही है। उसके वकील का कहना है कि ऐसा करना आईपीसी की धारा 420 (धोखाधड़ी) के तहत अपराध है। युवक को पुरुष से शादी कराकर ठगा गया है। क्योंकि महिला अपने प्राइवेट पार्ट के बारे में भलीभांति जानती थी।