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तेजी से फैल रहे कोरोना वायरस को क्या मौजूदा वैक्सीन रोक पायेगी ?, जानें विस्तार से

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Will the current vaccine be able to stop the rapidly spreading corona virus?, know in detail, National top news, national news, national update, national news, new Delhi top news : दुनियाभर में एक बार फिर ओमिक्रॉन का सब वेरिएंट JN.1 तेजी से फैल रहा है। बीते नवम्बर-दिसम्बर में भारत समेत दुनियाभर में कोविड के मामले सामने आये हैं। दो महीने के अंदर दुनियाभर में कोरोना वायरस की चपेट में आने से 3000 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है।

कोरोना के नये वेरिएंट के सामने आये आंकड़े

भारत के साथ दुनिया के कई देशों में कोविड-19 इन दिनों लोगों के लिए सबसे बड़ी चिन्ता के तौर पर बना हुआ। खुद विश्व स्वास्थ्य संगठन की ओर से भी अलर्ट जारी किये जा चुके हैं। वहीं, डब्ल्यूएचओ की ओर से दिये गये आंकड़े तो और भी डरा रहे हैं।

– 52 फीसदी मामले बीते चार हफ्तों में बढ़े

– 3000 लोगों की कोविड-19 से हुई मौत

– 08 फीसदी मौत के आंकड़ों में हुआ इजाफा, बीते महीने के मुकाबले

– 28 दिन में दुनियाभर में 1,18,000 लोग अस्पताल में भर्ती हुए

– 1600 लोगों को आईसीयू में भर्ती किया गया 

– 23 फीसदी असपतालों में भर्ती किये जानेवाले मामले बढ़े

कितना खतरनाक है JN.1 वेरिएंट ?

डब्ल्यूएचओ के अनुसार ओमिक्रॉन का सब वेरिएंट जेएन.1 तेजी से फैलता है। बताया जा रहा है कि कोरोना का यह स्पाइक इंसान की कोशिकाओं पर हमले की इजाजत देता है और उसे नष्ट करने की कोशिश में जुट जाता है। समय रहते इलाज कर लिया जाये, तो इससे बचा भी जा सकता है। यह इंसान के इम्यून सिस्टम को भी चकमा देने में सफल हो रहा है। अर्थात अगर लोगों की इम्युनिटी कमजोर है, तो यह तुरंत हमला कर सकता है। यही वजह है कि डब्ल्यूएचओ ने 60 वर्ष से अधिक उम्रवालों को इस वेरिएंट से बचने और ज्यादा सतर्क रहने की सलाह दी है।

डब्ल्यूएचओ ने इसे किस श्रेणी में रखा है?

डब्ल्यूएचओ ने जेएन.1 वेरिएंट को ‘वेरिएंट ऑफ इंटरेस्ट’ बताया है। अर्थात इससे वैश्विक जनस्वास्थ्य को ज्यादा खतरा नहीं है। इससे मतलब है कि इसे वेरिएंट ऑफ कंसर्न की श्रेणी में लाने से पहले इसकी प्रकृति और संक्रामकता शक्ति की जांच करता रहेगा। खतरा होने पर इसे कंसर्न यानी चिन्ता वाली श्रेणी में डाला जायेगा।

मौजूदा वैक्सीन कितना असरदार ?

डब्ल्यूएचओ की मानें, तो मौजूदा वैक्सीन इस वेरिएंट से बचाने में मददगार है। अर्थात वैक्सीन ही इस वेरिएंट से सुरक्षा प्रदान करेगी। यही वजह है कि विशेषज्ञों ने इस वेरिएंट से ज्यादा डरने के बजाए अलर्ट रहने की सलाह दी है।

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