Dharma adhyatma : यह तो आपको जरूर पता होगा कि भगवान शिव को सावन का महीना अति प्रिय है, लेकिन ऐसा क्यों है, आइये बताते हैं। दरअसल, सावन मास में मौसम काफी खुशनुमा रहता है। हर तरफ हरियाली नजर आती है। हरे रंग को प्रकृति से जोड़ कर देखा गया है और भगवान शिव को प्रकृति से अत्यंत प्रेम है। दरअसल, हरा रंग प्रकृति का प्रतीक है और प्रकृति देवी पार्वती का ही स्वरूप माना जाता है। इस वजह से भोले शंकर को हरा रंग और प्रकृति दोनों से प्रेम है।
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फलदायी है श्रवण में भोलेनाथ और मां पार्वती की पूजा
सावन मास में भोलेनाथ और माता पार्वती की पूजा करना अत्यंत फलदायी माना जाता है। सावन में शिवलिंग पर जल और बेलपत्र अर्पित करने से सभी मनोकामनाओं की पूर्ति होती है। सावन में हरे रंग का भी विशेष महत्व होता है। इस महीने में महिलाएं खासतौर से हरे के कपड़े और चूड़ियां पहनती हैं। अब सावन में हरा रंग पहनना क्यों शुभ माना जाता है और इसका भगवान शिव से क्या संबंध है, आपको पहले ही बताया जा चुका है कि रंग को प्रकृति से जोड़ कर देखा गया है और भगवान शिव को प्रकृति से अत्यंत प्रेम है।
ऐसे में सावन माह में हरा रंग पहनने से महादेव प्रसन्न होते हैं और मां पार्वती की भी कृपा प्राप्त होती है। इसके अलावा हरे रंग को प्रेम और खुशी का प्रतीक माना जाता है। कहते हैं कि हरा रंग जीवन में खुशहाली, मानसिक शांति, बुद्धिमता और सकारात्मकता लाता है।
इस वर्ष सावन सोमवार से शुरू व सोमवार को ही खत्म
पवित्र सावन मास की शुरुआत 22 जुलाई 2024 से हो चुकी है, जबकि इस माह का समापन 19 अगस्त को होगा। इस साल सावन सोमवार से शुरू हुआ है और समाप्त भी सोमवार के दिन ही हो रहा है। इस वर्ष सावन में 5 सोमवार पड़ रहे हैं। सावन में सोमवार व्रत और शिव-पार्वती की विधिपूर्वक पूजा करने से सभी अधूरी कामनाएं पूरी होती हैं।