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मोदी-मैक्रों मुलाकात के पहले भारत में 43 हजार करोड़ रुपये के P-75 इंडिया प्रोजेक्ट से पीछे हटा रही फ्रेंच कंपनी

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PM नरेंद्र मोदी यूरोप दौरे पर हैं। यूरोप दौरे के दौरान वह 04 मई को फ्रांस भी जाएंगे। वहां वे दूसरी बार राष्ट्रपति बने इमैनुएल मैक्रों से भी मुलाकात करेंगे। लेकिन, मोदी के फ्रांस दौरे से पहले ही वहां की प्रमुख हथियार कंपनी नेवल ग्रुप ने भारत को बड़ा झटका दिया है। कंपनी ने घोषणा की है कि वह भारत में 43 हजार करोड़ रुपये के P-75 इंडिया प्रोजेक्ट से पीछे हटा रही है। इस प्रोजेक्ट के लिए पांच अंतरराष्ट्रीय कंपनियों को शॉर्टलिस्ट किया गया था, नेवल ग्रुप इनमें से एक है। ग्रुप ने कहा है कि भारत प्रपोजल फॉर रिक्वेस्ट (RFP) की शर्तों को पूरा नहीं कर सकता है, इसलिए कंपनी इस प्रोजेक्ट में भाग लेने में असमर्थ है।

43 हजार करोड़ का है प्रोजेक्ट

एक न्यूज वेबसाइट की रिपोर्ट के मुताबिक ये प्रोजेक्ट 43 हजार करोड़ रुपये का है, जो नए स्ट्रैटजिक पार्टनरशिप मॉडल के तहत सबसे बड़ा प्रोजेक्ट है। इस प्रोजेक्ट के तहत अंतरराष्ट्रीय कंपनियों के साथ मिलकर भारत में पनडुब्बियों का निर्माण होना था और भारत की कंपनी को टेक्नोलॉजी ट्रांसफर किया जाना था। भारत सरकार इंटरनेशनल ओरिजिनल इक्विपमेंट मैन्यूफैक्चरर’ (IOEM) के तहत पनडुब्बियों के निर्माण और टेक्नोलॉजी ट्रांसफर करने के लिए एक पार्टनर कंपनी की तलाश कर रही है।

क्या है P-75 Project 

भारत में P-75 पनडुब्बियों के निर्माण का दूसरा प्रोजेक्ट है। नेवल ग्रुप ने ये प्रोजेक्ट मझगांव डॉकयार्ड शिपबिल्डिंग नाम की भारतीय कंपनी के साथ किया है। इस प्रोजेक्ट पर 2005 में फ्रांस के साथ भारत की डील हुई थी, नौसेना समूह को तब DCNS कहा जाता था। जिन छह पनडुब्बियों का निर्माण किया जाना है, उनमें से चार नौसेना में कमीशन भी की जा चुकी हैं। छठी पनडुब्बी का निर्माण इसी साल मार्च-अप्रैल में शुरू हुआ है। इसे 2023 के अंत तक भारत में कमीशन किया जाना है।

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