Categories


MENU

We Are Social,
Connect With Us:

☀️
Error
Location unavailable
🗓️ Wed, May 14, 2025 🕒 4:56 AM

Ilegally Bangladeshi: दिल्ली में अवैध रूप से रह रहे छह बांग्लादेशी गिरफ्तार

Ilegally Bangladeshi: दिल्ली में अवैध रूप से रह रहे छह बांग्लादेशी गिरफ्तार

Share this:


New Delhi News: दिल्ली के दक्षिण पश्चिम व रोहिणी जिला पुलिस ने यहां अवैध रूप से रह रहे छह बांग्लादेशियों को गिरफ्तार किया है। इनमें दो बांग्लादेशी पुलिस से बचने के लिए ट्रांसजेंडर बन कर महिपालपुर में रह रहे थे। फिलहाल पुलिस ने सभी अवैध बांग्लादेशी (Ilegally Bangladeshi) को विदेशी क्षेत्रीय पंजीकरण कार्यालय (एफआरआरओ) में भेज दिया गया है।

रोहिणी पुलिस की निगरानी में हैं अवैध बांग्लादेशी


रोहिणी जिले के डीसीपी अमित गोयल ने शनिवार को बताया कि रोहिणी जिला पुलिस अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशियों की निगरानी कर रही थी। इस बीच जिले की स्पेशल स्टाफ को सूचना मिली कि एक महिला समेत तीन बांग्लादेशी अपनी पहचान छुपा कर रह रहे हैं। सूचना को पुख्ता कर पुलिस ने तीनों Ilegally Bangladeshi को गिरफ्तार किया। पकड़े गए आरोपितों की पहचान अकलीमा बीबी, मोहम्मद कमल और महबूब आलम के रूप में हुई है।

बांग्लादेश के अलग-अलग हिस्से के रहने वाले हैं


जांच में पता चला है कि महबूब आलम मूल रूप से हिलालपुर, गोपालगंज, हेतिमगंज, सिलहट, बांग्लादेश का रहने वाला है। वह सिलहट बांग्लादेश में एक दवा की दुकान का मालिक है। वह शादीशुदा है और उसके दो बच्चे हैं। वह पहली बार इसी साल पांच अप्रैल को भारत आया था। मोहम्मद कमाल डिलाइट सिनेमा दरियागंज का रहने वाला है। वह गांव धुरैला खलासीकांडी थाना-मदारीपुर, जिला-मदारीपुर, बांग्लादेश का रहने वाला है। वह शादीशुदा है और उसकी पत्नी और बच्चे फिलहाल बांग्लादेश में रह रहे हैं। उसे पहले वर्ष 2012 में बांग्लादेश भेजा गया था। तीन साल बाद वह फिर से सीमा पार कर हावड़ा के रास्ते ट्रेन से दिल्ली आया। वह दिल्ली में कबाड़ी का काम करता था। इसी क्रम में पकड़ी गयी अकलीमा बीबी बवाना इलाके में रह रही थी । उसे पहले वर्ष 2007 में बांग्लादेश भेजा गया था।

एंटी स्नैचिंग सेल ने महिपालपुर से की गिरफ़्तारी


इसी दौरान दक्षिण पश्चिम जिले की एंटी स्नैचिंग सेल ने महिपालपुर से अवैध रूप से रह रहे दो बांग्लादेशियों को गिरफ्तार किया है। दोनों आरोपित पुलिस से बचने केलिए ट्रांसजेंडर बने हुए थे। पुलिस ने इनके पास से प्रतिबंधित आईएमओ ऐप वाले दो मोबाइल फोन बरामद किये हैं। पुलिस ने इन लोगों से फर्जी दस्तावेजों के जरिए हासिल किये गये दो भारतीय आधार कार्ड और पैन कार्ड भी बरामद किये हैं।

अवैध बंग्लादेशी ट्रांसजेंडर बन कर रह रहे थे

दक्षिण पश्चिम जिले के डीसीपी सुरेंद्र चौधरी ने बताया कि पकड़े गये आरोपितों की पहचान माही और तान्या के रूप में हुई है। डीसीपी के अनुसार जिले की एंटी स्नैचिंग सेल को गुप्त सूचना मिली थी कि दो बंग्लादेशी महिपालपुर में ट्रांसजेंडर बन कर रह रहे है और पुलिस से बचने के लिए ट्रैफिक सिग्नल पर भीख मांगते हैं। सूचना को पुख्ता कर पुलिस टीम ने दोनों को गिरफ्तार किया। पूछताछ में आरोपितों ने खुलासा किया कि उन्होंने पहचान छुपाने के लिए अपना लिंग और रूप बदलने के लिए मामूली सर्जरी और हार्मोनल इंजेक्शन लगवाये थे। आगे की जांच के दौरान दोनों ने खुलासा कि पिंकी और इरारा उर्फ नताशा नामक एक अन्य बांग्लादेशी ट्रांसजेंडर ने उन्हें भारत में अवैध रूप से प्रवेश करने में मदद की और कुछ फर्जी दस्तावेजों के आधार पर कुछ भारतीय एजेंटों के माध्यम से उनके आधार कार्ड और पैन कार्ड भी बनवाये। फिलहाल, पुलिस पिंकी और इरारा की तलाश कर रही है। दक्षिण पश्चिमी जिले की स्पेशल स्टाफ ने आरकेपुरम इलाके से एक बांग्लादेशी को दबोचा। पकड़े गए आरोपित की पहचान एम्ब्रोस के रूप में हुई है। वह गांव सैदपुर बांग्लादेश का रहने वाला है। जांच में पता चला है कि वह पुलिस से छुपकर आरके पुरम में रह रहा था। पुलिस ने आरोपित को गुप्त सूचना के आधार पर पकड़ा है। पूर्व में भी अवैध बांग्लादेशी पहले पकड़े गए हैं।

Share this:

Latest Updates