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गांव समृद्ध तभी राज्य होगा समृद्ध : हेमंत सोरेन

Hemant Soren

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प्रमंडल स्तरीय सहकारिता महासम्मेलन, रांची-2024″ का उद्घाटन एवं 236 चलंत पशु चिकित्सालय वाहन का शुभारम्भ, कार्यक्रम में मुख्य अतिथि थे सीएम

खेत-खलिहान और पशुधन है ग्रामीणों का बैंक एवं एटीएम

Ranchi News : मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने कहा कि उनकी सरकार तथा कृषि विभाग का उद्देश्य एवं लक्ष्य राज्य में किसान वर्ग को मजबूती प्रदान करना रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि झारखंड गांवों का प्रदेश है। ग्रामीण क्षेत्र में रहनेवाले अधिकतर लोगों का जुड़ाव खेती-बाड़ी के कार्यों से है। विगत 04 वर्षों में राज्य सरकार द्वारा किसान वर्ग के लिए कई महत्त्वपूर्ण योजनाओं का संचालन और नीति निर्धारण किया गया है, जो आनेवाले समय में मिल का पत्थर साबित होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि जब गांव समृद्ध होंगे, तभी राज्य समृद्ध होगा। उनकी सरकार राज्य के गांवों की जड़ों को मजबूत करने पर लगी है। जब गांव की जड़ें मजबूत होंगी, तब स्थायी तौर पर राज्य भी मजबूत होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में उनकी सरकार के गठन के चंद दिनों बाद से ही कई चुनौतियों का सामना करना पड़ा है। तमाम चुनौतियों से लड़ते-लड़ते विगत चार वर्षों में राज्य के गरीब, वृद्धजन, महिलाएं, किसान, आदिवासी, दलित, शोषित, पिछड़े सभी वर्गों के उत्थान के लिए उनकी सरकार ने जो लकीर खींची है, वह बहुत मजबूत, लम्बी और गाढ़ी लकीर है, उसे मिटा पाना असम्भव है। उक्त बातें मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने मंगलवार को द कार्निवल बैंक्विट हॉल, डिबडीह में आयोजित “प्रमंडल स्तरीय सहकारिता महासम्मेलन, रांची-2024” के उद्घाटन एवं 236 चलंत पशु चिकित्सालय वाहन के शुभारम्भ कार्यक्रम में अपने सम्बोधन में कहीं।

खेती-कृषि की वैकल्पिक व्यवस्था पर विशेष बल

मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने कहा कि हमारा देश कृषि प्रधान देश है। इस देश में किसान वर्ग के लिए जो नीतियां बनायी गयी हैं, उनका फलाफल बहुत कारगर साबित नहीं हुआ है। बड़े पैमाने पर किसान वर्ग के लोग अब खेतीहर मजदूर के रूप में गिने जा रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि भौतिकवादी युग में विकास के विभिन्न मापदंड, सही नीति निर्धारण की कमी तथा जलवायु परिवर्तन किसानों को मजदूर बनने पर मजबूर कर रहे हैं। यह एक बहुत गम्भीर और चिन्तनीय विषय है। मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार ने राज्य में किसान वर्गों के लिए खेती की वैकल्पिक व्यवस्था पर विशेष बल दिया है। राज्य सरकार का प्रयास है कि किसान बंधुओं को खेती-कृषि के साथ-साथ पारम्परिक व्यवस्थाओं से जोड़ कर आगे बढ़ाया जाये। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा मछली पालन, गाय पालन, मुर्गी पालन, दुग्ध उत्पादन सहित विभिन्न पशुपालन के माध्यम से जोड़कर कृषकों की आर्थिक स्थिति को मजबूत करने हेतु निरन्तर योजनाएं संचालित की जा रही हैं। मुख्यमंत्री ने कृषकों से अपील कक, कि वे पशुपालन से सम्बन्धित विभिन्न योजनाओं का लाभ जरूर लें। मुख्यमंत्री ने कहा कि झारखंड में परम्परागत खेती-कृषि के साथ-साथ पशुपालन की परम्परा भी रही है। इन सभी परम्पराओं का अनुकरण करते हुए हम सभी लोग आज यहां तक पहुंचे हैं।

राज्य सरकार ने किसानों के 02 लाख रुपये तक के कृषि ऋण किये माफ

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मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने कहा कि उनकी सरकार सदैव यहां के किसान परिवारों के साथ खड़ी है। राज्य सरकार द्वारा कृषकों के 02 लाख रुपये तक के कृषि ऋण माफी का निर्णय भी लिया गया है। राज्य सरकार अब कृषि कार्य के लिए किसान परिवारों को बेहतर गुणवत्ता वाले पशु प्रदान कर रही है। राज्य सरकार ने पहली बार ऐसी नीति बनायी, जिसमें कृषकों को प्रदान किये जानेवाले सभी पशुओं का इंश्योरेंस किया जाता है, ताकि पशुओं के मरने पर उन्हें बीमा की राशि उपलब्ध करायी जा सके। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में बड़े पैमाने पर लोग मछली पालन के व्यवसाय से भी जुड़े हैं। राज्य सरकार यहां विभिन्न पशुपालन योजनाओं को बढ़ावा दे रही है।

खेत-खलिहान और पशुधन किसानों का बैंक एवं एटीएम

मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्रामीणों का मूलधन खेत-खलिहान और पशुधन होता है। आप इसे यह कह सकते हैं कि किसानों का बैंक और एटीएम कार्ड खेत-खलिहान और पशुधन ही हैं। ग्रामीण किसान परिवारों की हर जरूरत इसी से पूरी होती है। मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार वनोपज को बाजार उपलब्ध कराने के उद्देश्य को पूरा कर रही है। ग्रामीणों को वन उपज का सही मूल्य मिल सके, इसके लिए भी उनकी सरकार संकल्पित है। खेती-कृषि, विभिन्न पशुपालन तथा वनोपज को एक उचित प्लेटफार्म उपलब्ध करायी जाये, तो आनेवाले कई समस्याओं से ग्रामीण किसानों को बचाया जा सकेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि मेरा मानना है कि देश, समाज और परिवार में कृषक वर्ग का स्थान बहुत महत्त्व रखता है। मुख्यमंत्री ने कहा कि इन सभी चीजों को मद्देनजर रखते हुए राज्य सरकार द्वारा किसान पाठशाला, बिरसा हरित ग्राम योजना, दीदी बाड़ी योजना, दीदी बगिया योजना सहित कई अन्य योजनाओं का संचालन किया जा रहा है, ताकि ग्रामीण परिवार इन योजनाओं से जुड़ कर आर्थिक रूप से मजबूत हो सके। इस अवसर पर कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता मंत्री दीपिका पाण्डेय सिंह, सांसद सुखदेव भगत, सांसद राज्यसभा महुआ माजी, विधायक कल्पना सोरेन, झारखंड गो सेवा आयोग के अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद सहित अन्य गण्यमान्य लोग उपस्थित थे।

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